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Adultery शक्ति की भूख

Napster

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कहते है शैतान और उसके दैत्य हमेशा मनुष्यों के पास रहते है ताकि उनसे ऊर्जा खींच सके। शैतान हमेशा अपने बच्चे बढ़ाने के लिए एक मजबूत माँ की ज़रूरत होती है ताकि बच्चा स्वस्थ और सुंदर पैदा हो ताकि शैतान उसको अपने बच्चे जैसा पाल के फिर अपने देवता को बलि दे के और ज़्यादा शक्तिशाली बन पाए।
जो भगवान नही देते वो शैतान दे देता है बदले में आपकी कोई प्यारी चीज़ या आपकी ही जान वो ले लेता है।
ऐसे ही एक कहानी है जिसको पढ़ने में रोमांच के साथ मज़ा आएगा।
"शैतान शैतान आपकी जय हो "
"क्या बात है क्यों शोर मचा रखा है क्या चाहिए?" किसी बड़े दैत्य जैसा डील डॉल शरीर 8 फुट का तो होगा और मजबूत शरीर बड़े बड़े सींग के साथ वो बहुत भयानक लग रहा था।
एक ऊंचे आदमियों की खोपड़ी के सिंघासन पे बैठा आस पास आग जल रही मशाल की। पास में ही कुछ प्रेत जैसे लोग बैठे मांस खा रहे है।चमगादड़ों का झुंड ऊपर उल्टा लटका है।


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"जैसी आप लड़की खोज रहे थे वो लड़की मिल गयी है उसके ग्रह आपके अनुकूल है अगर आप उससे बच्चा पैदा करते है तो आपको बहुत सारी शक्तियां मिल जाएगी फिर आप भी भगवान की तरह पूज्यनीय हो जाओगे"
"क्या कह रहे हो कहाँ है लड़की कौन है किसी दिखती है?"
"हिमांचल प्रदेश में एक छोटा सा गाँव है सिंगलूर वह वहां रहती है अभी 17 साल की है जब वो 20 साल की होगी तब उसके ग्रह में राहु आएगा और राहु के साथ जब राहु की दशा होगी तो आप उसके साथ संभोग करना 15 महीने में तक दशा रहेगी उस बीच आपका बच्चा पैदा होगा वो राहु जैसा कपटी होगा और आपके जैसे बलशाली और उसी बीच 4 ग्रह का योग बन रहा है वो 4 ग्रह राहु मंगल शनि और शुक्र इनके मिलान के समय अगर वो बच्चा पैदा हो गया तो आप उसको 11 साल तक पालना फिर 11 साल बाद बड़ी अमावस को बली देना आप सोच के देखो कितना शक्ति का समावेश होगा आप मे।"
"वाह वाह वाह क्या खबर लाया है तू" "मगर ये खबर तुझे दी किसने ?"
"एक तांत्रिक ने बताया कि अगर उस लड़की की शादी तांत्रिक से हो जाये फिर बच्चे को उस समय पैदा कर के 11 साल बाद अगर वो बलि देगा तो वो आपसे भी ज़्यादा शक्तिशाली बन सकता है।"
"यानी के मुझे उस तांत्रिक से पहले कुछ करना होगा।"
हिमांचल का मनोरम दृश्य पहाड़ के बीच मे घने जंगल उसमे निकलती हुई नहर जो के पत्थर से टकरा के कल कल की तेज ध्वनि के साथ तीव्र गति से बढ़ती चली जा रही है और उस नहर में पत्थर के किनारे पड़े हुये अंगिया(ब्लाउज़ जैसा) और घाघरा। उसमे नहाती हुई एक 17 साल की कमसिन लड़की जिसके उभार उसकी जवानी का शोर मचा रहे है। पतली कमर और बीच मे छोटी सी नाभि जिसको देख के लड़कों केसाथ बुड्ढों के मरे लण्ड में जवानी का जोश भर जाए ।



पीछे पूर्ण विकसित नितंब (गाँड़) जो किसी भी औरत को टक्कर दे सकते है। सामने बिना बाल की एक बहुत सुंदर सी लकीर और उसमे से टपकता पानी गुलाबी लकीर की कहानी बता रहा है। ऐसी चूत के दर्शन से ही लड़के झड जाए उफ़्फ़फ़ सुंदरता का जीता जागता मुजसिम्म। नाम रजनी उम्र 17 साल हाइट 5.5'इंच चूचे 32 के मगर एकदम गोल और कड़क सुडौल, कमर 24 की , गाँड़ 36 की ,उंसके नीचे थोड़ी सी मोटी जांघ वो भी एकदम गोरी के रोयां तक नही ।खुद पूरी गोरी है एक तिल तक नही है पूरे बदन में , चूत इतनी ख़ूबसूरत इतनी गुलाबी अनछुई सी उफ़्फ़फ़।
बहुत ही सुंदर लाजवाब और शानदार प्रारंभ हैं भाई कहानी का
 

Napster

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उसको देखती 2 लाल आंखे । आँखो में हैवानियत और कामुकता का मिला जुला संगम उन आंखों को और भी ज़्यादा खतरनाक बना रहा है।पेड़ की ओट में छुपी वो आंख मौके की तलाश में है।तभी वो लड़की नहर से निकल के अपने बदन को पोछ के कपड़े बदल के चलने लगती है और तभी वो शख्स गायब हो जाता है पेड़ के पीछे से। एक जगह पे जा के 2 पत्थर के बीच मे बैठ के ध्यान लगा लेता है। लड़की वहां से निकलती हुई जा रही होती है तो उसको देखती है और तभी उसको आवाज़ सुनाई देती है "रजनी " इधर उधर देख के वो सोचती है मेरा नाम कौन बुला रहा है। तभी फिर से आवाज़ आती है "रजनी"
"कौन बुला रहा है मुझे।"
"मूर्ख लड़की मुझे देख के अनदेखा कर के जा रही है इधर आ।"
रजनी उधर बढ़ चली जिधर वो बाबा बैठा था।
"जी बाबा "
"बाबा नही हु मैं। मैं हूं तंत्र सम्राट कापालिक प्रेतनाथ।"
प्रेतनाथ एक कापालिक तांत्रिक है 6 फुट का सांड बदन रंग गेहुआ बड़े बाल अनेक सिद्धि और भूत,प्रेत,बेताल,शाकिनी डाकिनी को सिद्ध किये हुए। वो जानता है ये लड़की एक बहुत शक्तिशाली पुत्र को जन्म देगी जिसके बलिदान अगर शमशान काली को किया जाए तो काली स्वयं सिद्ध हो कि उसको परम शक्तिशाली बना देंगी।लण्ड 7 इंच मोटा भी ठीक था।
"जी प्रेतनाथ बाबा आपने मुझे क्यों बुलाया?"
"देख लड़की तेरे ऊपर भयंकर खतरा आने वाला है माँ बाप भी तुझसे दूर हो सकते है।संभाल के रहना ले ये लॉकेट पहन ले इससे तेरी रक्षा होगी।"
"बाबा मैं साधारण लड़की हु गाँव की मेरी किसी से क्या लड़ाई? मुझ पे कौनसा संकट है ।"कोई संकट नही है।"
"मूर्ख लड़की नही मानती तो जा भुगत जा के "
कह के प्रेतनाथ ध्यान में चला गया।
घर आ के रजनी सोचने लगी क्या बाबा सच बोल रहा था क्या सच मे मुझपे कोई संकट आने वाला है । अरे नही वो पैसे के लिए बोल रहा होगा लॉकेट दे के 100 200 मांग लेता। हूह ऐसे ही डरते है लोग इनसे।
"मा कुछ बनाया है या नही बड़ी भूख लगी है।बापू को खाना देने दुकान देने जाना है मुझे आने में देर हो जाती है।"
"हॉ जानती हूं बड़ी काम काजी है तू ले खा और खाना बांध दी है दे आ जा के अपने बापू को ।"
"क्या मा हमेशा गुस्सा बनी रहती हो कभी तो हस दिया करो।"
"खाना खा और जा मेरा दिमाग न चाट न माखन लगा मुझे।""बड़ी हो गयी है धोड़ी जैसी मगर ये नही मेरा काम मे हाथ बटवा दे।"
"काम कितना करती हूं सुबह 5 बजे उठ के घर मे झाड़ू और बकरीयों का दूध निकाल के कपड़े धो के नहाने जाती हूं।फिर वापस आ के बापू को खाना देने जाती हूं।"
"बस बस पता चल गया काम कितना करती है।"
खाना खा के चली जाती है दुकान से वापस आ के दूसरे काम कर के सो जाती है। फिर शाम को उठ के रात का खाना बनाती है।
बहुत ही मस्त और शानदार अपडेट है भाई मजा आ गया
 

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फिर लेट जाती है खाना खा के और सोचने लगती है "कही सच मे कोई संकट तो नही?"
"जो होगा देखा जाएगा।"
सो गई । ऐसे ही 2 3 दिन निकल गए। चौथे दिन दोपहर को एकदम से पिता जी घर आते दिखे किसी के हाथ मे तो रजनी के चेहरे पे चिंता की लकीर आ गयी और भाग के पिता जी के पास पहुच गयी।
"क्या हुआ पिता जी आप ठीक तो हो न ?"
"बेटी मैं जा रहा था तो जंगल मे एक पेड़ की मोटी डाल मुझपे गिर गयी मगर ये नौजवान आ गया और इसने पूरी ताकत से उस मोटी डाल को उठा के फेक दिया और मुझे उठा के ले आया । मैन कहा भी के मैं चल लूंगा मगर ये माना नही।"
रजनी ने उस लड़के को देखा 7फुट की हाइट,भयंकर बॉडी मुस्कुलर नस पूरे बदन में दिख रही धोती पहने ऊपर बण्डी जिसमे से छाती बाहर को उभर के आ रही हाथ की एक एक नस दिख रही सांवला रंग और बड़े बाल ऊपर जुड़ा बंधे। लण्ड नही देखा राजनी ने मगर आपकी जानकारी के लिए 10 इंच का, मोटाई इतनी जितनी किसी की कोहनी होती है।
"क्या नाम है तुम्हारा?
"शैतान सिंह "
"ये कैसा नाम है?"
"जब मैं पैदा हुआ तो बाबा बताते थे मैं काला और बाकी बच्चों से बड़ा पैदा हुआ तो मज़ाक में मेरा नाम रख दिया तो यही नाम हो गया मेरा।"
"ठीक है क्या उम्र है ?"
"19 साल"
"19 साल? दिखते तो 50 के हो?"
"वो मैं कसरत करता हु तो इस वजह से ऐसा दिखता हु और लंबे बाल भी है मगर मैं 19 का ही हु।"
"ठीक है ठीक है।बाबा को वो घर है वहां ले चलना है तुम थक गए होंगे नीचे उतार के पैदल ले चलो।"
"मैं इनको उठा के पूरा पहाड़ चढ़ जाउ तब भी न थकाऊ।"
"ठीक है फिर चलो"
शैतान आगे चलने लगता है और रजनी पीछे वो उसको देख के कुछ कुछ महसूस करने लगती है शायद प्यार या लगाव।
घर पहुच के पिता जी को खटिया जो घर के बाहर थी उसमें बिठा देता है और कहता है "कपड़े उतारिये पहले चोट देखु"
"थोड़ी मुश्किल से हाथ उठा के कुर्ता उतार के देखने पे कंधे और पीठ पे काला पड़ा होता है।
"तेल गरम कर के उसमे लहसुन और सोंठ मिला के ले आओ" भारी आवाज़ से काले पड़े बदन को देखता हुआ शैतान बोला।
रजनी बिना कुछ बोले चली जाती है और 5 मिनट में समसी(लोहे की बर्तन पकड़ने वाली) से पकड़ के तेल ले आती है।
गरम गरम तेल जो खौल रहा था उसमें उंगलियों को डाल के निकाल के वही गरम तेल रजनी के बाप की पीठ पे लगा देता है जिससे वो सिसक उठता है।
"सससससस गगर्म है "
"गरम ही लगता है तभी आराम मिलेगा ।"
और तेल लगा कि मालिश करने लगता है फिर कहता है "एक सुई को आग पे गरम कर के ले आओ "
"क्या करोगे उसका"?
" ले आओ फिर देख लेना क्या करूँगा।"
वो 3 मिनट में ले आती है। वो सुई ले के 4 5 जगह लगा कि खून निकालने लगता है। जिससे सूजन और काला पन काम हो जाता है।
फिर शैतान कहता है "मैं जा रहा हु बाद ने आऊंगा"
तब तक बापू उठ गया और पूछने लगा "कहाँ रहते हो ?"
"जंगल मे रहता हूं।"
"जंगल मे क्या करते हो?"
"वहां जड़ी बूटी ढूंढ के बेचता हु वही रहता हूं।"
"मा बाप कहा रहते है?"
"मर गए दोनो?"
"कैसे ?"
"बचपन मे मुझे पैदा करते हुए मा मर गयी क्यों के मैं इतना बड़ा था दर्द सह नही पाई बाप कुछ 4 साल पहले मर गया।जंगली जानवर के हमले से।"
"तुमको डर नही लगता जंगल मे?"
"जंगल मुझसे डरता है।""हा हाहा हा हा"
"खाना खा के जाओ "
"जितना मैं खाता हूं उतना तुम 10 दिन में खाते हो ।"
"मेरी दुकान में काम करोगे?"
"कर लूंगा जब तक तुम ठीक नही होते"
"ठीक है मेरी दुकान उस पहाड़ के पीछे है जंगल से परे ।"
"ठीक है।"
"कल सुबह खोल दूंगा दुकान अभी सो जाओ।"
"चाबी ले लो "
"ठीक है।"
"तुम्हारा क्या नाम बताया था ?"
रजनी को देखते हुए शैतान बोला।
"रजनी"
"अगर किसी चीज़ की ज़रूरत हो तो आवाज़ देना जंगल मे आ के आ जाऊंगा।परेशान न होना मैं हु न।"
"हम्ममम्म "प्यार से देखती हुई बोली।
तभी शैतान चल दिया।
बहुत ही मस्त और लाजवाब अपडेट है भाई मजा आ गया
 

Napster

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दिनभर रजनी अपने बाप के पास बैठी रही।
रजनी का बाप भोला उम्र 45 साल, लण्ड 5.5 और काम दुकान है चाय नाश्ता और ऐसे ही छोटे मोटे समान की जो टूरिस्ट घूमने आते है उनसे कमाई होती है।जंगल के पार रोड पे दुकान है।
मा सरोज उम्र 40 साल काम करती है घर का और गौ सेवा उम्र 27 से ज़्यादा नही लगती देखने मे ।


20250208-194032

भरपूर गर्म है भोला थक जाता है झड जाता है 10 मिनट में मगर उसकी प्यास नही मिटती। 36 28 36 का फिगर है हाइट 5.2 है।
अगले दिन रजनी दुकान जाती है देखने के शैतान ने खोली है दुकान या नही तो वहां पे शैतान चाय बना के बेच रहा होता है।
रजनी को देख के फिर काम करने लगता है।रजनी को लगता है उसको इग्नोर कर रहा है मगर वो अपने काम मे मगशूल होता है। थोड़ी देर बाद रजनी घर आ जाती है।
ऐसे ही 3 दिन निकल जाते है रोज़ रजनी दुकान जाती है वो इग्नोर कर काम करता रहता है। अब रजनी के बाप की तबियत और शरीर भी ठीक हो जाता है 4 दिन वाद वो दुकान जाता है तो देखता है शैतान वहां काम कर रहा है।भोला खुश हो कि कहता है" अरे शैतान तुम काम कर रहे हो मुझे लगा नही खोली होगी दुकान । "
"आपकी बेटी आयी थी उसने नही बताई।"
"अच्छा बताया नही उसने "
"खैर अब मैं आ गया हूं तुम चाहो तो जा सकते हो"
"क्या अब मुझसे कोई काम नही है?"
"क्या तुम नौकरी करना चाहते हो?"
"ठीक है कर लूंगा।"आप बैठो "
गल्ले पे बैठ के खोलता है तो देखता है 2 लाख रुपये होते है।
"अरे ये इतने पैसे कैसे आ गए?"
"लोग आए तो पैसे आये।"
काम करते हुए बोला। फिर लड़की आयी खाना ले के और खाना दे के शैतान को देखने लगी।
"कितना खडूस है मेरी तरफ देखता भी नही।लम्बा है तो दिमाग घुटनो में है क्या?" सोचती है।
"दिमाग वही है बस काम से काम रखता हूं खडूड नही हूँ।" शैतान
"क्या ?मैने क्या बोला?"
"कुछ नही ।"
"क्या मैने कुछ बोला था इसको मेरे दिल की बात कैसे सुनाई दे गई।"
"जैसे सुनी जाती है।"
आंखों को फैला के आश्चर्य वाली दृष्टि से देखती हुई रजनी बोली " तुम ज़्यादा स्मार्ट न बनो समझे"
"मैं स्मार्ट नही मर्द हु जो सब कर सकता है।"
हूह कह कर चली गयी रजनी वहां से।
उसी शाम को शैतान भोला के साथ जंगल में घुसा पर कुछ दूर जा के शैतान गायब हो गया।
"भोला ने 5 7 आवाज़ लगाई मगर कोई आवाज़ का जवाब नही मिला तो भोला वापस घर की तरफ बढ़ गया।घर आ के रजनी से बोला "जंगल से हम दोनों साथ घुसे मगर शैतान रास्ते से ही गायब हो गया।
"अरे वो वही रहता है तो चला गया होगा बौड़म है वैसे भी।"
"नही वो बहुत मेहनती है 4 5 दिन में बहुत भीड़ होने लगी दुकान में और कमाई भी बढ़ गयी।"
"अच्छा बापू बढ़िया है एक नौकर मिल गया।"
फिर सबने खाना खाया और सोने चले गए अपने रूम में।
रात को सरोज की प्यास बढ़ी तो वो अपने नल के पास गई और चड्ढी से निकाल के चूंसने लगी। भोला जो के नींद में था वो मस्ती में आने लगा और 10 मिनट चूंसने के वाद सरोज के कपड़े उतर गए और वो भोला के मुह में बैठ गयी भोला अपनी जीभ सरोज की चूत की गहराई में उतार के काम रस पी रहा था और सरोज "हम्ममम्म हम्म्म्म आह आह उफ़्फ़फ़ "किये जा रही थी।
"डालो न रजनी के बापू आज कस के चोदना ऐसे के मूत निकल जाए मेरी।""डालो न क्यों तड़पा रहे हो।"
तभी भोला जीभ निकाल के सरोज को उठा के उंसको अपने सामान की तरफ भेजता है और सरोज जा के बैठ जाती है सेट कर के चूत में।
फिर शुरू होता है मर्दन काम का।
और 10 मिनट में सरोज झड़ने के पास होती है और वो तेज़ झटके लगाने लगती है भोला भी झड़ने के पास होता है और दोनो एक साथ झड जाते है।
मगर सरोज की प्यास अभी बुझी नही थी।वो 5 मिनट में फिर चूंसने लगती है।मगर थकान के कारण भोला सो जाता है।सरोज बस गुस्से में देखती रहती है। फिर वो अपने आप को एक तौलिये से लपेट के मूतने के लिए बाहर जाती है ।बाथरूम में टॉयलेट करने के लिए जैसे ही बैठती है एक सांप आ के उसकी चूत के पास डस लेता है सरोज चीख के बेहोश हो जाती है। चीख सुन के रजनी भाग के बाथरूम में जाती है और अम्मा को पड़ी देख के भाग के बैठ जाती है उसको समझ नही आता क्यों बेहोश हुई।
बहुत ही शानदार लाजवाब और मदमस्त अपडेट है भाई मजा आ गया
 

Napster

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"अम्मा अम्मा उठो "पानी के छीटे मारती है।मगर वो होश में नही आती।
"बापू ओ बापू "बापू "
भोला भाग के आता है क्या हुआ हाफ पैंट पेहन के ।
"बापू देखो अम्मा बेहोश हो गयी चीख के।"
"अब क्या करे वैद्य के पास ले के चले"
"मगर वैद्य तो 3 दिन के लिए बाहर गया है।"
"भोला को बुलाओ उसको दवा की जानकारी है।"
रजनी भाग के जाती है जंगल और आवाज़ लगाई "शैतान"
बोलते ही 5 मिनट में शैतान बाहर आ गया "हा क्यों बुलाया क्या बात है?"
"वो अम्मा को पता नही क्या हो गया है बेहोश पड़ी है"
"हम्म्म्म चलो देखते है"
दोनो लोग घर आ गए तुरंत और ऊपर कमरे में ले जा के उसने शैतान को दिखाया।
शैतान ने अच्छे से देख के बताया कि सांप ने काटा है "बाहर से नीम और पीपल के पत्ते ले आओ जा के दोनों लोग तब तक इनका परीक्षण कर लेता हूं।
दोनो लोग बाहर चले गए नीम और पीपल का पत्ता लेने जो कि बहुत दूर था घर से।
शैतान ने तुरंत उसकी बॉडी से तौलिया खोल के पैर फैला दिया और चूत के पास डसने के निशान पे मुह लगा कि चूंसने लगा 5 मिनट तक चूंसने के बाद पूरा ज़हर बाहर हो गया।मगर शैतान को उसकी चूत की खुशबू भा गयी । वो खून में मिला हुआ ज़हर पी गया और कुल्ला कर के उसकी चूत सूंघने लगा और लंबी सी जीभ जो कि उसके गले तक आ रही थी उसको चूत में घुसा के चाटने लगा इससे सरोज को होशं आने लगता है ज़हर निकलने से।और वो मज़ा में डूब जाती है।
"आह आह क्या हो रहा है मुझे इतना मज़ा तो कभी रजनी ने बापू ने भी नही दिया।उफ़्फ़फ़"
शैतान लगातार जीभ से चूत के अंदर कुरेद रहा था। इतनी लंबी जीभ का फायदा दिखा रहा था शैतान।
"आ आ आ ह ह ह ह ये कैसा मज़ा है जो आज तक किसी ने नही दिया उफ़्फ़फ़ कौन हो तुम बताओ।"
शैतान खामोशी से चूत की गहराई को अपनी जीभ से साफ कर के पानी पी रहा था नमकीन वाला ।अभी केवल 2 3 मिनट हुए जीभ से कुरेद के चटाते हुए और एक लंबी हुंकार मारती हुई सरोज ने अपना बंबा खोल दिया ऐसे झड़ी फुहार मार के शैतान पूरा गिला हो गया ।
अचानक वो उठी तो देखती है वहां कोई नही है फिर मुझे चाट के किसने झाड़ा ।
सोचती हुई फिर सो जाती है।बाहर शैतान खड़ा था दोनो लोग आए तो शैतान बोला"आओ ले मुझे दे दो।"
नीम और पीपल के पत्ते डाली सहित दे दी और शैतान ने उनको पीसना शुरू कर दिया।
फिर घर से मसाले मांग के उनके रस में मिला के उसको पिलाने को दे दिया।बाप अंदर गया उसने देखा मूत पड़ी हुई है वहां तो पानी डाल के साफ किया और रस उंसके मुह में डाल के पिला दिया ।
बाहर आने पे शैतान बोला "अब सुबह तक बिल्कुल ठीक हो जाएंगी ठंडी लगेगी तो कंबल उढ़ा देना।मैं जा रहा हु।"बोल के शैतान चल दिया।पीछे से रजनी भाग के जाती है और उसको धन्यवाद बोलती है वो मुस्कुरा के चल देता है।
रजनी खिसिया जाती है उसका हाथ पकड़ के बोलती है "मैं तुमको धन्यवाद बोलने आई और तुम बिना कुछ बोले जा रहे हो।"
"मैं क्या बोलू बताओ धन्यवाद का क्या जवाब दु "
रजनी सोचती है फिर बोलती है "कुछ भी बोल देते।"
वो सोचता है फिर बोलता है " रजनी धन्यवाद तो बाहर वालो को बोला जाता है अपनो को नहीं।"
रजनी मुस्कुरा के चल देती है।
"जवाब दे के नही जाओगी "
"जवाब दे दिया है मैने।"
शैतान सोचने लगता है " क्या जवाब दिया कुछ भी तो नही।"
जंगल जाते ही गायब हो जाता है।उधर सुबह रजनी नहाने के लिए भोर होते ही निकल जाती है कपड़े उतार के नंगी हो के पानी के उतर जाती है और नहाने लगती है अपनी गोरे उभारो को प्यार से मसल से निप्पल को पकड़ के साफ करते हुए कमर और हाथ को रगड़ के नहा रही होती है तभी उसको मूत लगती है तो मूतने के लिए इधर उधर देख के एक झाड़ी की तरफ जाती है और बैठ जाती है जहाँ उसको वही प्रेतनाथ दिख जाता है सोता हुआ कुछ दूरी पे मगर उसकी मूत छूट जाती है और गुलाबी घाटी से सुनहरी धार निकलती है फिर भाग के वो नहर में उतर के अपनी चूत रगड़ के साफ करती है।


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और नहा के कपड़े पहन के घर चल देती है मगर प्रेतनाथ जग जाता है उसको जाते हुए देख के बोलता है "तेरा बाप और माँ एक बार बच गए बार बार नही बच पाएंगे। तेरा खराब समय शुरू हो चुका है।"
वो गुस्से में जाती है और बोलती है "बकवास न करो समझे क्या चाहिए वो बोलो"
"मुझे क्या देगी तू मेरे पास सब कुछ है जो मैं चाहूंगा वो मिल जाएगा।"
"फिर क्यों परेशान कर रहे हो?"
"चेता रहा हु नही मानती तो जा भुगत मुझे क्या"
"जब परेशान ज़्यादा हो तब मेरे पास जाना मैं उपाय कर दूंगा सब ठीक हो जाएगा।"
हूह करती हुई रजनी चली गयी और प्रेतनाथ उसकी गाँड़ और पतली कमर देखता रहा। "जा आज तू जल्दी ही तू मेरे नीचे होगी और मेरा बड़ा लण्ड तेरे अंदर । मेरे बच्चे की माँ बनेगी तू मैं मैं बनूंगा भगवान।हा हा हा हा हा हा हा"
बडा ही खुबसुरत और लाजवाब अपडेट है भाई मजा आ गया
 

bull devil

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"अच्छा ठीक है।"
ये प्लान सुन के सब लड़के 4 बजे घर के पास बैठ गए छुप के । 4 15 पे सब लड़कियां एक झोला के साथ निकली टहलने के लिए अंधरे में।
जंगल मे पहुच के सारे लड़को ने उन्हें घेर लिया और चाकू दिखा के बोले "अगर हमे प्यार से चोदने दिया तो प्यार से करेंगे वरना ऐसे चाकू मार के भी चोद सकते है।बोल क्या चाहती हो?"
3 लड़कियां तो तयार थी मगर रजनी को गुस्सा आ गया उसने ज़ोर से चिल्लाया "शै तआआआआ नन न न"
2 मिनट में उन लड़कों के पीछे 7 फुट का दैत्य खड़ा था।
"ये कहाँ से आया ?"
"कही से भी आये मारो साले को।"
मगर उनके मारने से पहले ही बिजली कौंध गयी और सबके हाथ पैर टूट चुके थे।सब ज़मीन पे पड़े चिल्ला रहे थे रो रहे थे।
शैतान ने चारो लड़कियों से कहाँ अब जाओ यहां से।
सब लड़कियां वहां से नहर चली गयी और नहाने लगी बिना कपड़ों के जिसको शैतान देख रहा था।तभी वहां एक शैतान धुआं जैसा आया और बोला "शैतान, ये तीन लड़कियां भी बहुत अच्छी है बहुत शक्तिशाली बच्चे पैदा होंगे इनसे।"
"यानी के मुझे मेरी सेना के लिए 3 अच्छे योद्धा मिलेंगे जो देवता और इंसानो से लड़ के खत्म कर सकेंगे?"
"हां मेरे मालिक"
"वाह"
"मुझे रजनी के बच्चे की बलि न देनी होती तो उसको अपना युवराज घोषित कर देता मगर मुझे भगवान बनना है। अब इन तीन लड़कियों को कैसे अपने काबू में करु ये बताओ ।
"मेरे मालिक अपने कुछ गुलाम को इनका भेष बना के इनके घर भेज के इन लड़कियों को नरक में ले चलते है वाहाँ खुद मान जाती है तो ठीक वरना आप शैतान है बलात खुशी भी ले सकते हो आपकी ताकत के आगे ये लड़कियां कैसे टिक पाएंगी मा बना के बच्चे अपने पास रख लेना और इनको इनके घर भेज देना ।"
"वाह क्या बात कही है ऐसा ही होगा।"
"रजनी को आपसे प्यार है वो जब शादी करेगी तभी बच्चे को शक्ति मिलेगी तभी आपको मिलेगी।"
"हम्ममम्म रजनी को शादी के लिए कैसे मनाऊंगा?"
"पहले इन लड़कियों को जाने दो फिर तब तक आप पैसे कमा के महल बना लो अपने लिए।"
"महल के लिए अपने गुलामो से बोल दो सुंदर सा बनाने के लिए।"
"जी"धुआं गायब हो गया।
उसी रात को 3 बजे सपना आया कि तीनो बहने शैतान से चुदवा रही है और मज़ा ले रही है।राजनी का सपना टूट गया घबरा के उठ के बैठ गयी।बाहर निकली छज्जे में तो सामने चमगादड़ उड़ रहे थे और बात कर रहे थे"इस लड़की को देख रहे हो न ये हमारी रानी बनने वाली है। "
"ये मामूली सी लड़की हमारे आका को कैसे पसंद आ गयी कैसे इसे रानी बना देंगे?"
"मामूली नही है कुछ खास होगा तभी "
"वैसे हमारे आका कोई ऐसे वैसे नही है जो किसी भी लड़की पे लट्टू हो जाये।"
"हां चलो कही और चलते है।"
रजनी सोचने लगी के" मैं चमगादड़ की आवाज़ या भाषा कैसे समझ सकती हूं क्या है ये ?"
तभी वहां पे एक भेड़िया आया और वो रजनी को देख के पिछले पैर पे खड़े हो कि सलामी देने लगा और फिर सर को आगे ज़मीन पे रख के नमस्कार करने लगा और "महारानी की जय हो"बोल के चला गया।
अब रजनी घबरा गई "मैं जानवर और पक्षी की आवाज़ कैसे समझ सकती हूं?""ये क्या हो रहा है?"
अब कुछ समझने से पहले ही रजनी को नींद आ जाती है और कमरे में बेड में लेट के सो जाती है।
 

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उधर सरोज सुबह जागती है और सोचती है

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"कौन था रात में जिसने सिर्फ जीभ से मेरा पानी निकाल के झाड़ दिया मुझे और जीभ अंदर तक जहां तक रजनी के बापू के समान नही जाता वहां तक महसूस हुई।"
"ये जी उठिए न कब तक सोएंगे कितना धूप निकल आया है?"सोए भोला को देख के सरोज बोली।
"सोने दो तुम्हारे सांप ने काटा था रात में तो सोने में 2 बज गए थे।" बिना आंख खोले करवट बदलते हुए भोला बोला।
"अरे अब उठ भी जाओ देखो रजनी नहा के आ गयी नाश्ता बना रही है। "थोड़ा भौ सिकोड़ के बोलती है।
"अच्छा ठीक है।"खिसिया के उठता है
"अच्छा मेरा इलाज किसने किया था ?" मैं देख नही पाई क्यों के शायद वैद्य है नही यहां "?मन ही मन उस पल को याद करते हुए रोमांचित होती हुई पूछती है।
"शैतान ने "जम्हाई से पहले बोलता है
"कौन शैतान?"
"अरे जब मैं घायल हुआ था तब शैतान मुझे ले के घर आया था उस समय तुम कही गयी थी । तो मैंने उसको दुकान की देख रेख करने के लिए रख लिया। काम करता है दुकान म और जंगल मे रहता है।उसको रजनी ने बुलाया था क्यों के उसको दवा की जानकारी है ।"
"अच्छा तो वो जंगल में क्यों रहता है।घर बुला लो यही रह लेगा।"
"नही वो बहुत बड़ा है और बहुत खाता है तुम बना नही पाओगी ।"
"कितना बड़ा है कितना खाता है?"
"अरे वो 7 फुट का है और कसरत करता है तो यहां 3 घर का खाना अकेले खा जाता है इतना खा लेता है ।"
"3 घर के बराबर ?मतलब मतलब 30 40 रोटी खाता है एक बार मे और 2किलो चिकन या मटन खा लेता है ।"
"अरे बाप रे आज उसको कहना के मैंने खाने पे बुलाया है।"
"देखती हूं कितना खा सकता है।"मन मे सोचते हुए
"ठीक है मैं नहाने जा रहा हु"निकलते हुए भोला बोल के जाता है
"7 फिट का है इसलिए इतनी लंबी जीभ है तो लण्ड कितना बड़ा होगा?"एक्साइट होते हुए सोचती है।
दुकान पहुच के देखता है शैतान दुकान खोल के भीड़ निपटाने में लगा है और करीब 2 घंटे बाद भीड़ कम होने पे भोला " शैतान आज रात को हमारे घर खाना खाना है।"खुशी लाते हुए चेहरे से बोलता है
"क्यों आज क्या है?"बिना एक्सप्रेशन से
"अरे कल ज़हर उतारा था तो तुम्हारी चाची तुमको खिला पिला के भेजना चाहती है।"
"मैं जितना खाता हूं उतना पकाना पॉसिबल नही होता।"
"अरे वो बोल रही है तो आ जाना न।"
"ठीक है समझ गया।"
शाम को दुकान बंद कर के दोनों लोग घर के लिए निकले जंगल म शैतान बोला "आप जाओ मैं खाने से पहले आ जाऊंगा।"
"ठीक है।"
भोला घर आ गया। सरोज बोली "वो कहाँ है?"
"आ जायेगा खाना से पहले।कुछ काम करने गया है।"
"कैसा दिखता है जल्दी आये तो मज़ा आये "सोचते हुए सरोंज खाना पकाने लगती है।
रात को 8 बजे गेट पे दस्तक हुई रजनी ने गेट खोला तो शैतान की कमर और उसके लण्ड वाला हिस्सा दिखा।
"आओ" बोल के पीछे हट गई।
"शैतान झुक के अंदर गया और पलंग पे बैठ गया पूरे पलंग पे अकेला बैठा था और पलंग छोटा लग रहा था।
तभी सरोज अंदर घुसती है और शैतान को देख के चीख उठती है"आआआआआआआ "
"क्या हुआ ?"घबराता सा भोला बोला
"ये कौन है ?"
"यही है शैतान सिंह बताया था न तुमको ?? "बहुत मेहनती बच्चा है"
"ये बच्चा है??"
"और नही तो क्या 19 साल में बुढ्ढे हो जाते है ?"
तभी उसको याद आता है रात का दृश्य जब वो चाट के झाड़ देता है।
"तुमने ही ठीक किया था मुझे ?"
"हम्म्म्म इलाज किया था साँप काटने का,ठीक कहाँ किआ अभी?"शैतानी मुस्कान के साथ बोला
भोला समझ नही पाया मगर सरोज समझ के मुस्कुरा देती है।
"रात को यही रुकना "
"रुक तो जाउ मगर झेल पाओगी मुझे ?"
"क्या मतलब ?"भोला बोला
"मैं खर्राटे लेता हूं बहुत तेज़।"
"हा हा हा हा हा हा"अगर रात हो जाये तो रुक जाना सुबह तड़के चले जाना।"भोला हसते हुए बोला।
"पानी पिला दो थोडा।"
"अभी लाता हु"
"जग में लाना गिलास में नही।"
"हां "
भोला अंदर चला जाता है।
"झेल क्यों नही पाउंगी?"
"जीभ इतनी लंबी है तो समान कितना होगा।"अपनी भौवें चढ़ा के मुस्कुरा के बोला।
"फिर ये लोग जाग जाएंगे ?"
"लो इसको खाने में मिला देना इन दोनों के फिर सुबह तक घर भी गिर जाए तो नही उठने वाले।"
"बहुत शैतान हो"
"इसीलिए मैं शैतान हुँ"
सरोज अंदर जा के खाना परोस के दवा दोनो के खाने में डाल देती है और शैतान को भी परोस के देती है।
शैतान 10 लोगो के बराबर का खाना अकेला खा जाता है।उसकी डाइट कैपेसिटी देख के सरोज और रजनी दोनो इम्प्रेस होती है।रजनी तो वैसे भी उंसके प्रति आसक्त थी। खाना खाने के बाद दोनों को नींद आने लगती है और वो सोने के लिए चले जाते है।शैतान खाना खाने के बाद बैठ के दारू निकाल लेता है और पीने लगता है।जिसको देख के सरोज बोलती है "शराब पी रहे हो?"
"हां "
"मगर तुम तो केवल 19 साल के हो फिर ?"
"ये प्राकृतिक शराब है इसको पीने से ताकत आती है मुझे।""मगर तेरे घर मे मेरे हिसाब से सोने के लिए नई है तू मेरे साथ चल वहां से सुबह तुझे यहां छोड़ दूंगा जल्दी "
"मगर घर वाले क्या ?"
"वो सुबह से पहले नही उठने वाले।"
"मगर "
"सोच ले हाँ या न?"
"कितनी दूर जाना है जंगल मे?
"कुछ दूर पे।"
"चल ठीक है।"
गोद मे उठा लेता है सरोज को और कहता है "आंख बंद करो मैं दौड़ के ले जाऊंगा ताकि कोई देख न पाए।"
"अरे दरवाज़ा तो बन्द करने दो कही कोई चोर या जानवर न घुस जाए।"
"कोई नही घुसेगा""बन्द कर दूंगा "
"ठीक है फिर"आंख बन्द कर के बोली ।
शैतान ने उसको गोद मे उठा लिया और गेट से बाहर निकल के दौड़ के जंगल मे जाने लगा ।
आंख बन्द करे हुए सरोज सोच रही "मैं जा रही हु इसके साथ चुदाई करने क्या ठीक रहेगा ?""मगर केवल जीभ में मेरी चूत बहा देना कोई मामूली बात नही है । एक बार कर के देखती हूं अगर अच्छा लगा तो सोचूंगी वरना आगे का।"उसको ऐसा लग रहा था जैसे कोई कूद फांद के भाग रहा है 2 मिनट में आवाज़ आयी आंख खोल दो।
उतार के नीचे खड़ा किया और उसने आंख खोली तो एक झोपड़ी में पाया जिसमे आदमियों की खोपड़ी और मशाल जल रही थी।
"ये खोपड़ी क्यों रखी है यहां पे ?"
"ये मेरे बाबा की हत्या करने वाले लोगो की है जिन लोगो ने मेरे घर को बर्बाद कर दिया था मैंने उनको मार के अपने पास रख लिया ताकि मुझे खुशी मिल सके।"
"अरे क्या हुआ था?"
"मेरे बाबा एक तांत्रिक और वैद्य थे वो लोगो की मदद करते थे और एक दिन एक ठाकुर आया उसको अपने बच्चे की बीमारी ने परेशान कर रखा था। जब बाबा ने देखा तो पता चला चला किसी प्रेत ने बच्चे को पकड़ लिया था।तब बाबा ने बताया कि "प्रेत लगा हुआ है अगर हल्की सी भी गलती हुई तो बच्चा नही बचेगा।"
ठाकुर ने बोला " कुछ भी करो मगर बचाओ।"
"ठीक है ये समान मंगवाए।"
"जी, जाओ ये समान ले के आओ।"
पूजा कर के जब बच्चे को जब बैठाया गया तो प्रेत ने तांडव करने लगा और बोला "इस ठाकुर ने मेरी बीवी की इज़्ज़त लूट के मेरे सामने मार दिया फिर मुझे मार दिया अब मैं इसके बच्चे को मार के साथ ले जाऊंगा।" बाबा ने बोला "बच्चे ने क्या बिगाड़ा है उसको छोड़ दो और चले जाओ वरना तुमको नरक की आग में जला दूंगा।"
"हा हा हा हा हा हा हा हा तू जलाएगा मुझे मैं जा रहा हु अब इसकी बीवी की इज़्ज़त लूट के जाऊंगा और उसको भी मार दूंगा।"
मगर मेरे बाबा ने उसको एक बोतल में बंद कर दिया और ठाकुर को देते हुए बोला "इस बोतल में प्रेत है इसको इतने गहरे गड्ढे में गाड़ दो के बाहर न निकल पाये।"
ठाकुर ने बोतल ले के नदी के पास बहुत गहरा गड्ढा खुदवा के उसमे बोतल रख के दफन करवा दिया ।
और वापस आ के मेरे बाबा और अम्मा को मार दिया क्यों के प्रेत ने ये बता दिया था कि ठाकुर ने क्या किआ है कही बाबा पुलिस के पास न चले जाएं ।
उस वक़्त मैं बाहर था अपने मामा के यहां जब वापस आया तो देखा मौत का तांडव। मगर मेरे बाबा भी पहुचे हुए तांत्रिक थे। वो भी प्रेत बन के मुझे सब बताया और मैने बाबा का अंतिम संस्कार कर के ठाकुर की मौत लिख दी अपने इन्ही हाथों से।ये जो ऊपर रखी हुई खोपड़ी है ये उसी ठाकुर की है।"
"इतना बुरा हुआ तुम्हारे साथ मुझे पता ही नही था।"कहते हुए सरोज किस करने लगी क्यों के शैतान बैठा था ।
बहुत ही गजब का शानदार और जानदार मदमस्त अपडेट है भाई मजा आ गया
 
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