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thanksGreat story, unique plot, waiting for next update
Unique hoga tabhi to pasand aayega sabko
keep reading
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UPDATE NEXT WEEK ME AAYEGAWaiting for next update Ashok bhai
behterin updatesअब तक शर्मिला भी निर्णय ले चुकी थी की उसे क्या करना है
घेसू के जिन चरणों को वो दबा कर बैठी थी उसे अपनी छाती से चिपकाते हुए वो बोली : “मेरी जिंदगी में आप फरिश्ता बनकर आए हो महाराज…इसलिए आप जो कहेंगे, मैं करने के लिए तैयार हूँ …”
बाबाजी का लॅंड खड़ा हो गया धोती में उसके मुम्मो की कसावट को अपने घुटने पर महसूस करके
ऐसे में तो विश्वामित्र भी पिघल गये थे, ये तो फिर भी हमारा ठरकी घेसू था
उसने शर्मिला के कंधे से पकड़कर उसे उपर उठाया और अपने सीने से लगा लिया
सीने से लगाने से पहले ही शर्मिला ने अपना पल्लू नीचे गिरा दिया था
उसने पल्लू नही बल्कि अपने पति की इज़्ज़त को नीचे फेंका था
अब वो अपने पति की बेवफ़ाई का बदला लेना चाहती थी
बाबा के बच्चे की माँ बनकर पूरी जिंदगी अपने पति के पैसों को उड़ाना चाहती थी
बस
फिर क्या था
घेसू ने उसे अपनी गोद में उठाया और उसे लेकर अपने शीशमहल यानी पिछले झोपडे की तरफ चल दिया
वहां की रूप रेखा देखकर एक पल के लिए तो शर्मिला भी हैरान रह गयी
उसे तो लग रहा था की बाबा जी उसे वहीं चटाई पर लिटाकर चोदेगे
पर चुदाई का मज़ा तो डबल बेड पर ही है
और उपर से आज उसकी चूत में एक मोटा और कड़क लॅंड जाने वाला था
इसका आभास उसे उसी वक़्त हो गया था जब घेसू महाराज उसे अपनी गोद में उठा रहे थे
उसका हाथ उनके लॅंड पर जा लगा था और वहां की फेलावट महसूस करके उसके दिल की घंटिया बज उठी थी
बेड पर लेटते ही उसने अपनी साड़ी और पेटीकोट ब्लाउज़ खुद ही निकाल फेंके
नीचे वो पूरी नंगी थी
उसके संगमरमर जैसे जिस्म की बनावट देखकर एक बार तो घेसू भी चकरा गया
उसे आज अपनी किस्मत पर विश्वास ही नही हो रहा था
पर मेहनत तो उसने की ही थी
और उसी का फल इस वक़्त उसके बेड पर नंगा पड़ा था
जिसे उसे चाटना था
खाना था
मज़े ले-लेकर चूसना था
उसने झट्ट से अपनी धोती निकाल फेंकी और अंगोछा भी
अब चकराने की बारी शर्मिला की थी
क्योंकि उसने ऐसा लॅंड आज तक नही देखा था
वैसे तो अपने पति के अलावा किसी के साथ भी सैक्स नही किया था
पर एक-2 बार उसने पॉर्न देखी थी
लेकिन उसमें भी ऐसा लॅंड नही था जो बाबा का था
एकदम जंगली
झांटों से घिरा हुआ
काला भुसन्ड
बाबाजी का लंड
ये उसकी चूत में जाएगा कैसे
फिर उसने सोचा
जब जाएगा नही तो बच्चा आएगा कैसे
बस उसने उपर वाले का नाम लिया और बाबाजी को अपने उपर खींच लिया
ऐसा प्रतीत हुआ जैसे रसगुल्ले पर कटहल आ गिरा हो
घेसू तो पागलों की तरह उसके मुम्मो का दूध पीने में लग गया
उसके मोटे निप्पलों को चूस चूस्कर उसने उन्हे सूजा दिया
अपने दांतो के निशान बनाकर उसके सफेद मुम्मो को लाल गुब्बारा बना दिया
फिर नीचे जाकर उसने उसके पेट की मदिरा पी
नाभि में जीभ डालकर उसकी खुदाई की
वो बेचारी अपने शरीर के साथ हो रहे इस खिलवाड़ को महसूस करके सिर्फ़ गर्म आँहे भर रही थी
आज से पहले इतना कुछ सैक्स से पहले हुआ ही नही था उसके साथ
उसका पति तो सिर्फ़ उसे अपने उपर लिटाता और लॅंड डालकर 8-10 झटकों में हाँफने लगता
वो तो झड़ भी नही पाती थी
पर
इस वक़्त सिर्फ़ घेसू के द्वारा मुम्मे चूसने मात्र से वो झड़ चुकी थी
और जब घेसू ने अपना दाढ़ी मूँछो से भरा चेहरा उसकी बिना झांटों की चूत से लगाया तो वो ज़ोर से चिल्ला पड़ी
"आययययययीईइईsssssssss बाबाssssssss स्स्सस्स्स्स अह्ह्ह्हह्ह्ह्ह "
ये काम उसके साथ पहली बार जो हो रहा था
उसके पति ने 1-2 बार सिर्फ़ उंगली मारी थी वहां
जीभ तो बहुत दूर की बात थी
इसलिए वो उसके चेहरे को अपनी चूत पर घिसने लगी
ऐसा लग रहा था जैसे वो कोई बड़ा सा बालों वाला ब्रश घिस रही हो अपनी चूत पर
पर मज़ा उसे बहुत आ रहा था
क्योंकि घेसू महाराज अपनी जीभ से उसके मटर दाने को जो कुरेद रहे थे
वो दान जब भी महाराज की पकड़ में आता तो वो उसे चुभला कर एक जोरदार चटखारा मारते
बदले में शर्मिला का पूरा शरीर झनझना कर रह जाता
वो उन्हे दूर भी फेंकना चाह रही थी और पास भी रखना चाह रही थी
और जब वो फिर से झड़ गयी तो उसकी चूत का सारा अमृत घेसू नारियल पानी की तरह पी गया
गहरी साँसे लेते हुए शर्मिला ने घेसू को पकड़ कर उपर खींचा और उनके होंठ चूसने लगी
गुरुजी के होंठो से अपनी चूत का रस ही मिला उसे
उनकी दाढ़ी मूँछे और होंठ पूरी तरह से उसकी चूत से निकले पानी मे धुल कर नशीले हो चुके थे
और वो उस नशे को चूस्कर उनके वशीकरण में बंधती चली गयी
कुछ देर बाद घेसू ने सही सा आसन बनाया और उसकी जाँघो को फेला कर चौड़ा किया
फिर अपने लॅंड पर ढेर सारी थूक लगाकर उसे शर्मिला की चूत पर लगाया
और बोला : “चिंता ना करो पुत्री …..अब तुम्हे जल्द ही पुत्र प्राप्ति भी होगी और आज के बाद तुम्हारे शरीर को भी पूरा मज़ा मिलेगा”
एक औरत को और क्या चाहिए
उसने आँखे बंद कर ली और आने वाले झटके की प्रतीक्षा करने लगी
घेसू ने अपना लॅंड धीरे-2 करके आधे से ज्यादा उसकी चूत में उतार दिया
उसकी चूत इतनी गीली थी की उसे ज़रा भी दर्द नही हुआ
बाबा के इस चमत्कारी झटके ने उसे सुख सागर में गोते लगाने पर मजबूर कर दिया
आज जैसा भरंवापन उसे पहले कभी महसूस नही हुआ था
उसकी चूत का एक -2 कोना बाबा जी के लॅंड से ठूस -2 कर भरा जा चूका था
कुछ देर तक तो घेसू धीरे-2 अपने लॅंड को अंदर बाहर करता रहा
फिर घेसू ने अपनी स्पीड बड़ा दी
अब शर्मिला को एहसास हुआ की असली चुदाई और असली मर्द क्या होता है
हर झटके से बाबा जी का लॅंड उसकी चूत की दीवारों की रंगाई पुताई करता हुआ उसे और भी ज़्यादा चमका रहा था
और हर झटके में उसे जो आनंद की प्राप्ति हो रही थी उसे शब्दो में वो कह नही पा रही थी
सिर्फ़ आअहह बाबाजी
ओह बाबाजी
कहकर अपनी भक्ति का प्रचार कर रही थी
वो तो उनके लॅंड की दीवानी हो चुकी थी अब
उनके लिए तो वो अपने पति से लड़ झगड़कर भी आ जाएगी इस कुटिया में उनका लॅंड लेने
बस इन्ही विचारों को महसूस करते हुए करीब 10 मिनट बाद उसकी चूत की गोद भराई हो गयी उनके वीर्य से
बाबाजी ने भरभराकर अपने लॅंड का पानी उसकी चूत में आशीर्वाद के रूप में भर दिया
बाबाजी की बूटी ने उसकी चूत में अपना कमाल दिखा दिया था
जो आने वाले समय में उसका पुत्र बनकर बाहर आने वाला था
और फिर वो उसके उपर ही गिर पड़े
शर्मिला भी अपने मोटे स्तनों को उनके शरीर पर घिसकर उन्हे धन्यवाद देने लगी
उस रात वो ऐसे ही नंगी लेटी रही उनके बेड पर
और बाबाजी ने करीब 3 बार उसकी जबरदस्त चुदाई की
अब तो वो भी थक चुकी थी
पर ठरकी बाबाजी का लॅंड हर 2 घंटे बाद फिर से अंगड़ाई लेने लगता था
वैसे बीच-2 में घेसू हिमालय के जंगलो से लाई कुछ जड़ी बूटिया भी खा रहा था
ताकि उसे लगातार चोदने की अतिरिक्त शक्ति मिलती रहे
इसी तरह से वो रात बीत गयी
अगली सुबह सुमेर सिंह आया था उस से मिलने
और फिर उसे पिछली झोपड़ी में लेजाकर शर्मिला के पास छोड़ दिया
बाबाजी के साथ एक और मर्द को देखकर एक पल के लिए तो शर्मिला घबरा गयी
पर घेसू ने आँखो ही आँखो में उसे चुप रहकर लेटे रहने को कहा
अब बाबाजी को तो वो नाराज़ नही कर सकती थी
और वैसे भी सुमेर सिंह जैसा बांका और गठीला मर्द देखकर शर्मिला के दिल में कुछ-2 होने लगा था
हालाँकि घेसू के लॅंड ने भी उसे काफ़ी मज़े दिए थे
पर वो जंगलीपन वाला प्यार था
इस बांके शरीर के मालिक के साथ अलग मज़ा मिलेगा
और अपने बेवफा पति की बेवफ़ाई का बदला लेने का एक और मौका मिलेगा
बस
इसलिए वो उसी अवस्था में लेटी रही
सिर्फ़ आहे निकली उसकी चुदाई के वक़्त
उसके अलावा वो कुछ ना बोली
ठीक वैसे ही जैसे कोई वशीकरण में रहकर कुछ भी बोलने और समझने की स्थिति में नही रहता
और इस प्रकार घेसू का ये पासा भी सही पड़ गया
शर्मिला की चूत को एक और लॅंड मिल गया
और सुमेर सिंह को शर्मिला की चूत दिलाकर घीसू ने अपने लिए उसकी बेटियों का जुगाड़ भी कर लिया
पर वो तो तभी संभव होता जब घेसू उसे आँखो मे देखकर वशीकरण की विद्या के बारे में बताएगा
अभी के लिए तो आज की रात वो अपनी सीखी हुई विद्या का इस्तेमाल करके अपनी बेटियो की चूत पर कब्जा कर लेना चाहता था
उनकी कुँवारी छूटों पर वो अपना नाम लिखना चाहता था
उस घेसू का नही
इसलिए घेसू के पास भेजने से पहले वो खुद मज़े करना चाहता था
और आज की रात वही मज़े लेने वाली रात थी.
Thanks for your lovely words and feedbackbehterin updates
bhai sala koi vash me hai nahi fir bhi vashikaran vashikarn ka hua bana hua hai
na sumer ki betiya chanda aur chandrika vash me hai na sarmila
lekin maza sabhi le rahe hai
sarmila to bache ki chah aur pati ki bewafai me gayi lekin ab lagta hai sumer ko milne wali hai sarmila ki chut
aur uski dono betiya bhi
ghesu to free me maza le raha hai apne jhut aur pakhand kae jaal se agar uska raaz nahi khula to wo sumer ki betio ko bhi bhog lega
keep writing
Itna lamba samay....UPDATE NEXT WEEK ME AAYEGA
WED-THURSDAY
samay-2 ki baat haiItna lamba samay....
Aapke update ka intezar rahegasamay-2 ki baat hai
time mil jaaye to 1 week me 2 update aate hai
kahaniyo se alag ek jaha aur bhi hai
wo bhi dekhna padta hai
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