असलम अंकल ( धीरे धीरे से खुद को बोलते हुए) : इंशाअल्लाह!!! कितनी सुन्दर कारीगरी है ये खुदा!! कितने फुर्सत से बनाया है तूने इस औरत को!!! क्या दूध है!!!! आह!!! इस दूध को इसका पति कितना चूसा होगा!!! इसके तीन बच्चे और मेरा बच्चे अली ने भी चूसा है | अब मेरी बारी |
ये सब असलम अंकल धीरे धीरे पूरी तरह से गरम हो कर खुद को बोल रहे थे | असलम अंकल अपना जीभ अपने होंठ पर ragad कर लाल tapkane लगे | असलम अंकल अब अपना बड़ा मुह मम्मी के बड़ी बड़ी दूध के करीब लेने लगे | वो अपना मोटा कला Lund मम्मी की chut के ऊपर नीचे satkane लगे और ऊपर से मम्मी की एक मोटी दूध पर अपना बड़ा मुह रख दिया | जैसे ही मम्मी की दूध पर असलम अंकल का मुह का स्पर्श हुआ मम्मी की मुह से आह निकल गई | असलम अंकल मम्मी को मोन सुन कर मन ही मन खुस हुए और धीरे धीरे से एक हाथ से मम्मी की बड़ी दूध को पकड़ कर अपने मुह मैं डाल दिया और अपना लाल जीभ लगाकर चूसने लगे |
मम्मी : आह आह आह आह आह!!!! क्या कर रहे जी आप pihu के पापा ? आह आह आह आह आह!!!! बच्चे जाग जाएंगे!! आह आह ओह ओह!!!
असलम अंकल अपना जीभ मम्मी की निप्पल पर लगाकर लाल से दूध को bhar दे रहे थे और दूध चूस रहे थे | असलम अंकल दूध चूसने मैं काफी माहिर थे | औरत की सेंसिटिव जगह पर बार करके उनको tadpane मैं उन्हें मज़ा आता था | अभी वही चीज वो मम्मी के साथ कर रहे थे | मम्मी की दूध पर अपना लाल लगा रहे थे अपना जीभ से मम्मी की दूध पर चारो और hamla बोल रहे थे | असलम अंकल अपने जीभ से मम्मी की निप्पल की चारो और घुमा रहे थे लाल tapka के | मम्मी की हालत खराब कर रहे थे असलम अंकल | मम्मी जब असलम अंकल को अपना पति समझ कर मोन कर रही थी तो असलम अंकल का साहस और बढ़ गया | असलम अंकल दोनों हाथों से मम्मी एक दूध को दबा के अपने मुह मैं घुसा कर चूस रहे थे | उनकी मानो कामना पूरी हो रही थी | उनका मन कब से था मम्मी की बड़ी बड़ी दूध चूसने का अब वो मौका मिला था उन्होंने जिसका भरपूर फायदा उठा रहे थे | असलम अंकल बहुत चालाकी से सब कर रहे थे क्यूंकि उनको पता था कि मम्मी अगर उठ गई तो काफी दिक्कत हो सकती है फिर भी जिस्म की गर्मी के आगे खुद पर काबु रखना मुस्किल तो था | असलम अंकल बड़े मजे से मम्मी का स्तन पान कर रहे थे बचे की तरह ¦ पूरी तरह अपना लाल मम्मी की पूरी दूध पर लगाकर चूस रहे थे | मम्मी असलम अंकल की स्तन पान से काफी गरम हो गई थी और मोन कर रही थी | उन्होंने अनजाने मैं असलम अंकल की पीठ से पकड़ कर अपनी दूध के ऊपर उनको ले आयी क्यूंकि वो काम agni मैं जलने लगी थी | असलम अंकल का khusi का ठिकाना नहीं रहा क्यूंकि मम्मी खुद उनको अपना दूध पीला रही थी अनजाने मैं ही सही | पहली बार कोई गौर मर्द मम्मी की जिस्म का लुफ्त उठा रहा था | असलम अंकल दूध चूसें जा रहे थे चूसें जा रहे थे कोई daya नहीं कर रहे थे मम्मी को कोमल दूध पर |