Lucky-the-racer
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धन्यवाद!Aagaz Jab itna sundar hai to aage ki raah kaisi ho ye soch hi nahi paa raha hun. Xossip par aap ki kahani 'kayakalp' padhi thi. Wo bhi bahut hi sundar khani thi. Jis tarah aap ne us khani me prem ko dikhya tha wo bhi Gazab tha aur lagta hai ye kahani bhi waise hi Khhas hogi bas incest Test ke sath ..Aur Naye Kahani ke 5 Update me itne naye words sikhe ki kya batau. Lagta hai kahani khatam hote tak Malyalam jarur sikh jauga. Aur Naye Kahani ke liye Aap ka Swagat Aur Dhanyawad. Miss![]()
अंजलि जी ने ये कहानी xossip पर लिखी थी.............. मेरी पसंदीदा कहानियों में से है
शायद इसलिए भी की अपने बचपन से जवानी की ओर आते समय तरुण अवस्था में जिन 2 लड़कियों से मुझे प्रेम हुआ उसमे पहली मेरी ममी की बहन थी..... जिससे संबंध शुरू होने से पहले ही खत्म हो गए उसके वापस अपने घर जाते ही
दूसरी मेरी मौसी थी......... चाची की बहन......जो मेरी माँ की भी चचेरी बहन हैं... उनसे 5 वर्ष में बात शादी तक पहुँचकर मेरी माँ की असहमति के कारण ....शादी ना हो सकी। मेरी माँ अपनी बहन को बहू के रूप मे स्वीकार नहीं कर सकीं............ लगभग यही घटनाक्रम रहा......... सिर्फ शारीरिक आकर्षण और शारीरिक सम्बन्धों को छोडकर।
आज भी उनको सामने देखता हूँ तो पहले दिल की धड़कनें रुक सी जाती हैं............ फिर बढ़ती ही चली जाती हैं
मन से कैसे निकाल सकता हूँ.............. तन से अपना नहीं सका अगर
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केरल को ईश्वर का देश कहते हैं (God's own country) अर्थात ईश्वर की भूमि
क्योंकि ईश्वर की तरह अपनी सृष्टि स्वयं रचने वाले ऋषि विश्वामित्र का बसाया हुआ देश है यह..............
विश्वामित्र अयोध्या के राजा गाधि के पुत्र, अयोध्या के राजकुमार थे, उन्हें कौशिक के नाम से भी जाना जाता है..........
उन्होने ही राजनैतिक कूटनीति के तहत ..... अपने यज्ञ व आश्रम की रक्षा के बहाने से अयोध्या के राजकुमार श्री राम चंद्र को अपने साथ मिथिला ले जाकर राजकुमारी सीता से उनका विवाह कराया था...........
अपने आप मे विलक्षण नारियल परिवार के वृक्षों का सृजन उन्हीं की देन है
उनकी भाषा मलयालम प्राच्य संस्कृत का ही रूप है........ जिसे उन्होने एक विशिष्ट लिपि (font) प्रदान की
आज भी martial art की सबसे पुरानी और सभी नयी कलाओं की जननी पद्धति कलारिपट्टयु जो ऋषि विश्वामित्र की देन है............ केरल में ही सिखाई जाती है
क्षारसूत्र आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति भी कलारी प्रशिक्षण का ही भाग है.........जो उस समय ऋषि विश्वामित्र के सैनिक मलयपुत्रों के लिए सीखना जरूरी था
.................... मैं अपने जीवन के उत्तरार्ध (50 के बाद की उम्र) को केरल में बिताना चाहता हूँ........... कलारी गुरुकुल में...........
संभवतः उनका वंशज (इक्ष्वाकु/रघु वंशी) होने के नाते कुछ अधिक ही प्रेरित हूँ