• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Adultery छुटकी - होली दीदी की ससुराल में

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
छुटकी -होली दीदी की ससुराल में

भाग ११० नाच -चुनिया और बुच्ची
अपडेट पोस्टेड, एक मेगाअपडेट . कृपया पढ़े, लाइक करे और कमेंट जरूर करें
 
Last edited:

Premkumar65

Don't Miss the Opportunity
7,968
8,834
173
सूरजु की माई -- इमरतिया
Teej-64b2c4df280435a243466a336d36d23a.jpg


पर सूरजु की पूरी अब तक की जवानी तो अखाड़े में और गुरु ने कहा था की औरत के आगे नजर झुका के, तो इमरतिया के अलावा सूरजु किसी से बात भी नहीं करते थे, और उनकी माँ को यही बात सता रही थी,

पर इमरतिया ने जिम्मा ले लिया था अपने देवर को बियाह के पहले नंबरी चोदू बनाने का और कोक शास्त्र के ८४ आसनो की प्रैक्टिस कराने का

और जैसे ही बियाह सुरुजू का पक्का हुआ, लड़की वाले आये बरीक्षा ( एंगेजमेंट ) कर के गए, सूरजु के गुरु ने उन्हें अखाड़े की कसम से, ब्रम्हचर्य की शपथ से आजाद कराया, अखाड़े का लंगोट अखाड़े में रह गया, बस उस दिन से दुनो बौरा गयीं, सूरजु सिंह क माई और भौजाई, बड़की ठकुराईन और इमरतिया दोनों, जैसे कभी सूरजु को देखतीं या उसके बारे में बोलतीं, सीधे चुदाई ही सूझती, और इमरतिया तो खैर असल भुआजी मात, अइसन भौजाई थी, तो देवर के बियाह की बात से गरमाना ही था, देवर को सीखा पढ़ा के, चढ़ा के, देवरानी के लिए तैयार करना था, लेकिन इमरतिया से ज्यादा बड़की ठकुराइन की बुरिया में आग लगी थी और इमरतिया अब उन्हें खुल के छेड़ती भी थी, सूरजु का नाम ले ले कर,

झाड़ते समय अब वो रुक जाती और बड़की ठकुराइन से बोलती, "पहले बोल हमरे देवर से चुदवाओगी"

" अरे झाड़ न स्साली, हमरे बेटवा क चोदी, अरे जो बड़ा बड़ा चूतड़ मटका के चलती हो न तो तोहार गांड भी मारेगा, " गरमा के सूरजु की माई बोलतीं

" अरे हमार देवर है जो चाहे वो करे, अब तो लंगोटा खुल गया है, बुर भी मरवाउंगी, गाँड़ भी लेकिन तू पहले बोला साफ़ साफ़ तब आज झाड़ूंगी " इमरतिया उन्हें और तंग करती,

" अरे ठीक है तोहार देवर, जो तू चाहे करवावा, अच्छा चुदवा लेब " हंस के वो कबूल करतीं और गच्चाक से दो उँगलियाँ सूरजु की माई क बुर में, स्साली क बुर अभी भी एकदम टाइट, इमरतिया ने गाँव की कितनी कुँवार लड़कियों की होली में, सावन में झूले पे ऊँगली की लेकिन उन सबसे टाइट ठकुराइन की थी, कुछ तो उनको सब ट्रिक आती थी, चुनमुनिया का ख्याल भी करती थीं अपने, और कुछ इमरतिया को जड़ी बूटी का भी ज्ञान था, मर्दो वाली भी लड़कियों वाली भी, चार बच्चो की भोंसड़ी वाली भी, एकदम नया माल लगती, और बड़की ठकुराइन ने तो सिर्फ एक जना था और वो भी बीस साल पहले,

लेकिन इमरतिया तब भी ठकुराइन को तंग करती, दोनों जोबना पे तेल लगाते बोलती,

" अरे स्साली, रंडी क जनी, बेटा चोद, कबूल करो, किरिया खा तीन बार की अपने बेटवा से चुदवाओगी, सूरजु क लंड घोटगी यह भोंसडे में "

" अरे झाड़ दे स्साली, बोल तो दिया, चल किरिया खाती हूँ, कसम ले ले घोंटूंगी उसका लंड, अब तो झाड़ दे "



और झाड़ते समय भी इमरतिया वही सब बोलती, " अरे असली मजा तो तब आएगा, जब हमरे देवर क मोट लंड जाई, अब तक क कुल लंड भुला जाओगी स्साली "



झड़ते समय दोनों एक से एक गालियां और दिन में कम से कम दस बार कबुलवाती सूरजु क माई से, और कई बार तो सबके समाने भी बुलाती , " बहनचोद तो कुल लौंडे हैं यह गाँव क, लेकिन हमार देवर पक्का मादरचोद है, "

और सूरजु क माई गेंहू कूटने पीसने वालियों के सामने ही इमरतिया को चिढ़ातीं, " मादरचोद है तो तोहार झांट काहें सुलग रही है , तुम भी चुदवा लो न, कइसन भौजाई हो, हमार देवर होत तो एक दिन भी नागा नहीं करती। "--

तो सूरजु क माई को जब उनकी भौजाइयों और ननदों ने पकड़ के खड़ा किया, साड़ी तो कब की उतर गयी थी, पेटीकोट भी कमर तक, खूब चिकनी गोरी गोरी केले के तने ऐसी जाँघे, मांसल, रसीली और उस के बीच, रौशनी में चमकती, दमकती पावरोटी ऐसी फूली फूली बुर, दोनों फांके एकदम चिपकी, समझदार औरतें देख के समझ गयी थीं, न जाने कितने लौंड़े का धक्का इसने खाया होगा,



अरे सूरजु की नानी ने उनकी माई को जब उनकी पहली माहवारी हुयी, तभी बाल बनाते समय समझाया था,

" भूख लगने पर मरद जैसे रोटी नहीं गिनते, कितनी खायी, वैसे जवानी चढ़ते समय, औरत लंड नहीं गिनती कितने घोंटे। अरे बिधना इतना मेहनत करके जांघो के बीच ये सुन्दर छेद बनाया और किस लिए, सिर्फ लंड खाने के लिए। " और सूरजु की माई ने अपनी माई की वो बात गाँठ बाँध ली, न रिश्ता न नांता, लंड तो लंड। लेकिन अभी भी उनकी चुनमुनिया इतनी टाइट थी, और उससे भी बढ़कर हरदम गीली, मखमल की तरह मुलायम, उसे देख के नयी नयी गौने उतरी बहूये भी लजा गयीं, ऐसी टाइट और गीली तो उनकी भी नहीं रहती।



रामपुर वाली भौजी, वैसे तो रिश्ते में उनकी बहू लगती थी, उनके मायके की, लेकिन मजाक के मामले में एकदम सूरजु क माई क टक्कर की, पीछे से जकड के अपनी हथेली अपनी सास की बुर पे रगड़ते हुए पूछ रही थीं,

" बताइये बातोये सब लोग, अब इसमें कितने गए हैं ये पूछने का मतलब नहीं, लेकिन अब अगला लंड किसका जाएगा, बताइये बताइये , दूल्हा की माई की बुरिया में "

और पूरी ताक्त से बुलबुल की चोंच खोल दी, और बुर के अंदर अभी भी, सैकड़ों लंड का धक्का खा के भी लाल गुलाबी और रस से भीगी रामपुर वाली भाभी ने फिर सवाल दोहराया,

" दूल्हे की माई क बुरिया में केकर लंड जाई, बोला बोला, अइसन रसीली गुलाबी गुलाबी बुरिया केकर लौंड़ा खायी "


" अरे दूल्हे क माई क बुरिया में, दूल्हे का लंड जाई, हमरे तोहरे देवर क लंड, इनके बेटवा क लंड " जोर से हँसते हुए मुन्ना बहू बोली,
Teej-Gao-ddd6fefa9a9253a4f23d41ab76bfbef5.jpg


" और हमरे भतीजा क, दूल्हा का, बरात तबतक न जाई जबतक दूल्हे के लंड पे दूल्हे क माई न चढ़ेंगी, " कांति बुआ ने कस के अपनी भौजाई के जोबन रगड़ते हुए कहा।

लेकिन सूरजु का माई भी खूब मजा ले रही थीं, उन्होंने छुड़ाने की कोशिश नहीं की बल्कि, रामपुर वाली भाभी, और मुन्ना बहू को चैलेंज किया,

" अरे इतना भौजाई हैं, अभी तक अपने देवर क लंड घोंटी नहीं है, पहले भौजाई लोग बताये उनके देवर क लौंड़ा है केतना बड़ा, "

मुन्ना बहू और रामपुर वाली भाभी की निगाह इमरतिया की ओर पड़ी, और इमरतिया क मुस्कराहट ने कबूल कर लिया की वः देवर के खूंटे पे चढ़ चुकी है बल्कि पूरा बित्ता फैला के इमरतिया ने इशारा भी कर दिया की उसके देवर का सूरजु का लंड, पूरे बित्ते का, बल्कि उससे भी बड़ा है , और कलाई मुन्ना बहू की पकड़ के उसकी मोटाई भी बता दी,

औरतों के मुंह से चीख निकल गयी, और बुच्ची, चुनिया और उस की समौरिया वाली गाँव की लड़कियों की बिल गीली ho गयी एक ओर से सूरजु की माई को उनकी ननद, सूरजु की बुआ कांति बुआ ने पकड़ रखा था, और दूसरी ओर से उनकी भौजाई, सूरजु क छुटकी मामी ने, दबोच रखा था, और सूरजु क मामी बोलीं,

" हमरे ननद क कम मत समझा, गदहा, घोडा, कुत्ता सब का लंड चुकी हैं सूरजु क महतारी तो तोहरे देवर के लंड भी सट्ट से घोंटेंगी और वो भी आड़े तिरछे, चोरी छिपे नहीं, खुल के सब के सामने, माटी कोड़ने जाएंगे न बस वहीँ खुले खेत में, भरी बगिया में, भौजाई लोग अपने देवर क लंड खड़ा करना, और हम इनकी ननद भौजाई मिल के चढ़ा देंगे, तोहरे देवर के लंड पे। "

लेकिन जबरदस्त जवाब दिया, रामपुर वाली भाभी ने, वो सूरजु का माई का बुरिया अभी भी फैलाये थीं, तो अपनी सास को गरिया के चिढ़ाते बोलीं,

" अरे तोहार लोगन क देवर, नहीं जो उनका खड़ा करना पड़ेगा , हमरे देवर का तो हरदम खड़ा रहता है, खासतौर से मामी, बुआ और महतारी को देख के, और तोहरे ननद क बुरिया कितना पनिया रही है, खाली हमरे देवर क लंड क नाम सुन के, अरे घबड़ाइये मत, बहन चोद तो कुल मरद होते हैं, हमार देवर पक्का मादरचोद है "



लेकिन तब तक सूरजु की चाची और उनकी एक दो देवरानी ने मिल के कांति बुआ को दबोच लिया और अब उनकी बिल खुल गयी और सूरजु की माई का पेटीकोट डाउन हो गया, वो अपनी ननद को चिढ़ाने में लग गयीं

अब एक बार फिर से सूरजु की माई मतलब गाँव की चाची, ताई, लोगों का पलड़ा भारी था और बुआ लोगों की रगड़ाई शुरू हो गयी, और सूरजु की माई ने कांति बुआ की खिंचाई करते हुए कहा, बिना ये सोचे की उनकी भतीजी बुच्ची और उस की उम्र की लड़कियां भी हैं,



" भूल गयी गौने के पहले कैसे तोहरे दोनों छेद में तोहार दू दू भाई कैसे मजा लिए थे, आगे वाले छेद में सूरजु क बाबू और गंडिया में सूरजु क चाचा, फिर बदल बदल के, "



अब तो गाँव की चाचियों, ताइयों ने इतनी जोर का ठहाका लगाया, कई तो उस समय थीं भी जब यह बात हुयी थी, कांति बुआ की शादी हो गयी थी, गौना नहीं हुआ था, हाँ अगहन में तारीख रखी गयी थी, उसी साल होली में, सूरजु की माई के गौने आये तीन साल हो गए थे, और कांति बुआ ने गाँव की लड़कियों के साथ मिल के होली में भौजी की रगड़ाई का प्लान बनाया था, लेकिन सूरजु क माई, अपनी जेठानी देवरानी से मिल के, सूरजु क एक मौसी आयी थीं, एकदम कुवार, गौना का बियाह भी नहीं हुआ था और साली को देख के सूरजु क बाबू और चच्चा क रोज फड़फड़ाता था। बस सूरजु क माई ने जुगाड़ करवा दिया, शर्त भी बता दी, आँख पे पट्टी बांध के पेलना होगा, अभी थोड़ा लजाती है,



बस सूरजु क मौसी ने, अपने जिज्जा का सूरजु के बाबू का चूस चूस के, उनका भी बम्बू जबरदंग था, और फिर अपने दुपट्टा से कस के उनक आँख पे पट्टी बाँध दी, और सूरजु के बाबू के उस खड़े लंड पे चढ़ाई गयीं,

सूरजु क बुआ, उनकी कुल भौजाई पकड़ के, उनके मुंह पे पट्टी बाँध के

और चीख पुकार कर रही थी सूरजु का मौसी, जिससे सूरजु का बाबू सोचें की आपन कोरी साली की फाड़ रहे हैं

और जब बांस पूरा घुस गया तो सूरजु की माई, अपने देवर को, सूरजु के चाचा को,आँख पे पट्टी बाँध के खुद अपने हाथ से उनका लंड पकड़ के कांति बुआ की कोरी गांड पे सटा दी , सूरजु की चाची ने अपनी ननद की गांड कस के फैला दी औरकरारा धक्का मारा कांति बुआ के भाई ने



सूरजु की माई ने पट्टी खोल दी , कांति बुआ के मुंह से और क्या जोर से चोकरी वो, लेकिन दोनों भाई ने मिल के रगड़ रगड़ के अपनी बहिनिया की बुर भी चोदी और गांड भी मारी, फिर बदल बदल के, हाँ दुबारा जब दोनों भाई झड़ रहे थे तो दोनों के आँख की पट्टी उनकी भौजाइयों ने खोल दी, और झड़ते समय कौन बाहर निकालता है, भले बहन की ही बुर और गांड क्यों न हो

जबतक सूरजु की माई ये किस्सा सुना रही थीं की एक ज्योतिषी आये /आयीं

ज्योतिषी जी लगता है सीधे बनारस से आये थे, पोथी पत्रा समेटे, माथे पे त्रिपुण्ड, खूब गोरे, थोड़े स्थूल, धोती जैसे तैसे बाँधी, ऊपर से कुरता पहने, एक हाथ में चिमटा भी,खड़का के बोले, " अलख निरंजन, अलख निरंजन, किसी को बच्चा न हो रहा हो, कोई लंड के बिन तरस रही हो, बाबा सब का हल करेंगे, सबकी परेशानी दूर करें
गे, सबका भाग बाँचेंगे "
Gajab ho aap Komal ji. Gaon ki kya mast tashveer khinchi hai. Nasha chadh gay.
 
  • Like
Reactions: Shetan

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
बहोत बहोत बढ़ाई हो कोमलजी. अब इंतजार रहेगा. छुटकी के 30 लाख व्यूस पुरे होने का.

85dc03945047dd784373f39a5f68d1c9-high 9c05bf6bb42f516f05022ca455cfa9cd-high b7db07fa4601259ef87aa736c1d8533b61cba45c-high
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
बहोत बहोत बढ़ाई हो कोमलजी. अब इंतजार रहेगा. छुटकी के 30 लाख व्यूस पुरे होने का.

85dc03945047dd784373f39a5f68d1c9-high 9c05bf6bb42f516f05022ca455cfa9cd-high b7db07fa4601259ef87aa736c1d8533b61cba45c-high
आपका साथ रहेगा तो वहां भी ३० लाख जल्द पूरा होगा

फागुन के दिन चार पर जैसे आप ने कहा था कल ही अपडेट दे दिया है

और बस ४-५ दिन में अगला अपडेट यहाँ भी

रात के नाच गाने की मस्ती का किस्सा जारी रहेगा
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
बुच्ची की गेंद मेरा भाई खेलेगा, मेरा गप्पू खेलेगा
बुच्ची के सीने पे दो दो गेंद, बुच्ची के कुर्ते में दो दो गेंद,

बुच्ची की गेंद मेरा भाई खेलेगा, मेरा गप्पू खेलेगा
Geet to char chand laga rahi hai.
और इमरतिया मन ही मन मुस्कराने लगी, एकदम सही है, अब असली इम्तहान होगा सूरजु देवर का, इतना मोटा लंड है, कलाई से भी मोटा और कड़ा भी कितना, चार बच्चों की माँ, पक्की भोंसड़ी वाली को भी पसीना आ जाए, और ये कच्ची कली, घोंटेंगी देवर का, अपने भाई का, भाई बहन दोनों का इम्तहान होगा,


Imritiya ka bhi imtihan hoga.akhir kaisi bhabhi ji nanad ka na padhwa pai
इस कहानी में और ख़ास कर इस भाग में ऐसी ही गाने और आएंगे

गाने ऐसे छेड़ छाड़ वाले भी रीत रिवाज और रस्म के भी

और आपने एकदम सही कहा, इम्तहान तो इमरतिया का भी है जो लड़को के नाम से मुंह बिचकाने वाली बुच्ची पर उसके भाई को कैसे चढ़ायेगी और वो भी अपने सामने

और सिर्फ इमरतिया ही अपने देवर के चक्कर में नहीं है रामपुर वाली भाभी और चुनिया भी अपने भाई गप्पू का चक्कर बुच्ची से चलवाने के चक्कर में हैं

होगा होगा सब होगा, आप का साथ ऐसे ही रहा तो

:thanks: :thanks: :thanks: :thanks: :thanks: :thanks: :thanks:
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
Sarju ki mami bhi kam nahi hai.inka jikra pehle bhi suna thA
एकदम और ये छोटी मामी तो आग लगाती हैं और फिर दूल्हे की माई इनकी ननद हुईं तो ननद की रगड़ाई न हो

शादी बियाह के तो ये सब मजे हैं और यही बातें याद रहती हैं
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
" एकदम और असली कच्ची कोरी, कच्ची अमिया बिन चुदी बहिनिया ढूंढ के अपने देवर से फड़वाउंगी उसकी, लेकिन मैं कह रही थी मेरा देवर सिर्फ बहनचोद ही नहीं पक्का मादरचोद भी बनेगा। "


Shandaar.
आप को पसंद आया, बहुत बहुत आभार धन्यवाद
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
Bua ke sath to conspirecy ho gayi..


Dekhte hai ye jyotish kon ban ke aaya hai.

Or sidhe " अलख निरंजन, अलख निरंजन, किसी को बच्चा न हो रहा हो, कोई लंड के बिन तरस रही हो, बाबा सब का हल करेंगे, सबकी परेशानी दूर करेंगे, सबका भाग बाँचेंगे " bolne lage.maza aayega aage.

Or iss iss donkach jaise mahol main or kya kya hota hai.


Overall the update was awesome.

Agle rusprad update ki pratiksha
ये पंडित जी वाला प्रकरण एकदम डोमकच की ही तरह का है और बस अगले हिस्से की झलक है

सूरजु सिंह की माई ने कहा है की जितनी मस्ती बरात जाने के बाद होती है उतनी रोज होगी, तो बस, बड़की ठकुराइन की मर्जी, हालांकि रगड़ाई भी उन्ही की सबसे ज्यादा होगी, दूल्हे की माई हैं मजाक नहीं।
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
Are wah..... apna kaam bhi karwa liya rampur wali bhabhi ne....
एकदम रामपुर वाली ने ससुराल में अपनी ननद से अपने भाई का टांका भिड़वा दिया, और गाने गाने में सबके सामने कबूल भी करवा लिया अपनी ननद बुच्ची से

बहुत आभार हर पोस्ट पर हर स्टोरी पर कमेंट के लिए

Thank U GIF by chiara
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
फागुन के दिन चार भाग ४६ पृष्ठ ४६७

रात बाकी बात बाकी

अपडेट पोस्टेड, कृपया पढ़ें, लाइक करें और कमेंट जरूर करें
 

komaalrani

Well-Known Member
24,228
65,415
259
Oooo to yaha se suraj ki training ki tayari ki baat aayi..

Chalo der aaya durust aaye .....
isliye bich bich me flashback se thoda story ka background vaapas aa jaata hai

Thanks for comments and support.
 
Top