शानू के जीवन के अतीत और वर्तमान सेक्सुअल पहलू का लाजवाब वर्णन किया है आपने । यह उत्तेजक भी है , सेंसुअल भी है और इरोटिक भी है ।
पास्ट मे शानू के पास मोबाइल फोन उपलब्ध था , उसके फादर के पास मोबाइल फोन उपलब्ध था और यहां तक घर मे एक लैपटॉप भी उपलब्ध था पर मम्मी जी अर्थात फरीदा मैम इस सुविधा से वंचित थी ।
ऐसा भी नही था कि फरीदा मैम को मोबाइल फोन से कोई एलर्जी थी । वह फोन पर अधिकतर समय बातें किया करती थी , मैसेज करती थी , बीडीओ चैटिंग करती थी और सबसे महत्वपूर्ण कि उनके मैसेज और चैटिंग सभी अत्यंत ही अश्लील हुआ करते थे । फिर भी उन्हे मोबाइल फोन से वंचित क्यों किया गया ? यह कोई भी समझ सकता है कि मोबाइल पर उपलब्ध चीजें लिक हो सकती है अगर उस फोन को कोई दूसरा शख्स लगातार युज करे ।
खैर , फरीदा मैम और उनके पतिदेव साहब ने प्रौढ़ा अवस्था मे अपने सेक्सुअल रिलेशनशिप को एनर्जी प्रदान करने के लिए जिस तरह की अश्लील हरकतें मोबाइल फोन पर की , उसका प्रभाव शानू पर पड़ना ही पड़ना था ।
लेकिन उनका शानू को टाॅफी दिखाकर ललचाना और फिर टाॅफी की जगह करेला मुंह मे डाल देने वाला व्यवहार समझ से बाहर है ।
शायद यही प्रभाव बाद मे पड़ा होगा जब शानू साहब अपने माॅम के क्षत्रछाया से बाहर निकले होंगे । चाहे जमीला हो , चाहे अलीना हो , चाहे रेशमा मैम हो , सभी पर उनकी नजरे इनायत इस प्रभाव का ही परिणाम था ।
इस प्रभाव का दायरा सिर्फ इन्ही तक सीमित नही लगता है , शायद इस दायरे के अंदर आने वालों मे नगमा और शबनम भी शामिल हों !
सभी अपडेट बेहद ही शानदार थे । इरोटिक सीन्स मे कुछ ऐसे तस्वीर और बीडीओ क्लिप का आपने समावेश किया है जो उस वक्त के हालात पर बिल्कुल परफेक्ट बैठता था और जो बहुत ही इरोटिक था ।
आउटस्टैंडिंग एंड अमेजिंग अपडेट डियर ।